Donald Trump Ultimatum: अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने गाजा पट्टी में शांति स्थापित करने के प्रयासों के बीच फिलिस्तीनी चरमपंथी समूह हमास को कड़ा और सीधा अल्टीमेटम दे दिया है। मिस्र के शर्म-अल-शेख में हुए महत्वपूर्ण गाजा शांति सम्मेलन के ठीक एक दिन बाद, ट्रंप ने व्हाइट हाउस में पत्रकारों से बात करते हुए साफ कर दिया कि अगर हमास स्वेच्छा से हथियार नहीं छोड़ता है, तो उसे ताकत के बल पर निरस्त्र कर दिया जाएगा। (Donald Trump Ultimatum) उनकी इस टिप्पणी ने क्षेत्र में तनाव बढ़ा दिया है और गाजा शांति प्रक्रिया के दूसरे चरण पर सवाल खड़े कर दिए हैं।
Donald Trump Ultimatum: ‘जल्दी और शायद हिंसक तरीके से’ होगा निरस्त्रीकरण
इजरायल और मिस्र की अपनी यात्रा से लौटने के तुरंत बाद, राष्ट्रपति ट्रंप ने जोर देकर कहा कि हमास को अपनी आतंकवादी गतिविधियों को हमेशा के लिए बंद करने के लिए हथियार छोड़ने ही होंगे। उन्होंने साफ शब्दों में चेतावनी देते हुए कहा, “अगर हमास हथियार नहीं छोड़ता है, तो हम उन्हें निरस्त्र कर देंगे और यह जल्दी और शायद हिंसक तरीके से होगा।” ट्रंप ने दावा किया कि उन्होंने अपने मध्यस्थों के माध्यम से हमास तक यह संदेश पहुंचाया है और हमास ने ‘हां सर, हम निरस्त्रीकरण करने जा रहे हैं’ कहकर इस पर सहमति व्यक्त की है।
हालांकि, ट्रंप ने बाद में यह भी स्पष्ट किया कि उनकी यह बातचीत हमास के शीर्ष अधिकारियों से सीधी नहीं थी, बल्कि अमेरिकी विशेष दूत स्टीव विटकॉफ और उनके दामाद जेरेड कुशनर जैसे विश्वस्त प्रतिनिधियों के माध्यम से संदेश भेजा गया था। (Donald Trump Ultimatum) इन मध्यस्थों ने पिछले हफ्ते शर्म-अल-शेख में हमास के शीर्ष वार्ताकार खलील-अल-हय्या से मुलाकात की थी। ट्रंप का यह रुख हमास के लिए एक बड़ी चुनौती है, क्योंकि समूह ने अभी तक सार्वजनिक रूप से पूर्ण निरस्त्रीकरण से इनकार किया है, जबकि यह अमेरिका की मध्यस्थता वाले 20 सूत्रीय शांति समझौते का एक महत्वपूर्ण हिस्सा है।
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बंधकों की रिहाई और अपूर्ण शांति
ट्रंप का यह बयान ऐसे समय में आया है, जब अमेरिका की मध्यस्थता में लागू युद्धविराम के तहत इजरायल और हमास के बीच बंधकों की अदला-बदली का पहला चरण पूरा हुआ है। समझौते के अनुसार, हमास ने बाकी बचे 20 जीवित बंधकों को रिहा कर दिया। (Donald Trump Ultimatum) हालांकि, समूह गाजा पट्टी में अभी भी बंधक बनाए गए मृत लोगों को पूरी तरह से रिहा करने के दबाव में है। ट्रंप की टिप्पणी के दौरान ही खबर आई कि हमास ने 4 और मृत बंधकों के शव इजरायल को सौंप दिए हैं। यह दिखाता है कि शांति समझौता अभी भी नाजुक स्थिति में है, जहां हमास की ओर से पूर्ण सहयोग की कमी है।
ट्रंप के अल्टीमेटम का मतलब
जब पत्रकारों ने ट्रंप से हमास को निरस्त्र करने की विस्तृत योजना पूछी, तो अमेरिकी राष्ट्रपति ने जवाब देने से मना कर दिया। उन्होंने बस इतना कहा, “मुझे आपको यह समझाने की जरूरत नहीं है। (Donald Trump Ultimatum) वे जानते हैं कि मैं खेल नहीं खेल रहा हूं।” समय सीमा के सवाल पर उन्होंने इसे ‘एक उचित समयावधि’ के भीतर होने वाला बताया।
ट्रंप के इस सख्त रवैये से साफ है कि अमेरिका गाजा में हमास की सैन्य शक्ति को खत्म किए बिना दीर्घकालिक शांति की गारंटी नहीं मानता है। शांति योजना के अगले चरणों में हमास का निरस्त्रीकरण एक प्रमुख मुद्दा है, और ट्रंप की यह चेतावनी दिखाती है कि अगर हमास अपने हथियार डालने में आनाकानी करता है, तो क्षेत्र में एक बार फिर बड़ा टकराव शुरू हो सकता है। (Donald Trump Ultimatum) अब देखना यह है कि ट्रंप के इस ‘करो या मरो’ वाले अल्टीमेटम पर हमास की प्रतिक्रिया क्या होती है, और क्या गाजा एक स्थायी शांति की ओर बढ़ पाएगा, या फिर एक नए हिंसक अध्याय की शुरुआत होगी।