
CDS General Anil Chauhan Warning: भारत देश के चीफ ऑफ डिफेंस स्टाफ (CDS) जनरल अनिल चौहान ने एक सनसनीखेज बयान में बताया कि भारत की सुरक्षा पहले से कहीं ज़्यादा खतरे में है और ये खतरा सिर्फ बाहर से नहीं, बल्कि अंदर से भी पनप रहा है। (CDS General Anil Chauhan Warning) मंगलवार को थिंक-टैकं कार्यक्रम में जनरल चौहान ने चीन, पाकिस्तान और बांग्लादेश के संभावित गठजोड़ को भारत की सुरक्षा के लिए बड़ा खतरा बताते हुए कई खुलासे किए। आइये जानते हैं।
CDS General Anil Chauhan Warning: भारत को चुकानी पड़ सकती है भारी कीमत
जनरल चौहान ने कहा कि पूरी दुनिया एक खतरनाक बदलाव के दौर से गुजर रही है। पुरानी वैश्विक व्यवस्था अब ढह रही है और उसकी जगह एक अनिश्चित और खतरनाक संतुलन बन रहा है। इस वैश्विक भूचाल में अमेरिका की भूमिका भी उलझनों से भरी है, जो कई बार भारत के हितों से टकराती दिख रही है।
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चीन-पाक-बांग्लादेश का खौफनाक गठजोड़? भारत के लिए खतरा
जनरल चौहान ने चेतावनी दी कि अगर चीन, पाकिस्तान और बांग्लादेश किसी भी प्रकार की रणनीतिक साझेदारी करते हैं, तो यह भारत के लिए सुरक्षा की ताबूत में आखिरी कील साबित हो सकती है। उन्होंने खास तौर पर बांग्लादेश की अस्थिर राजनीति का जिक्र किया और बताया कि शेख हसीना का भारत में शरण लेना एक बड़ा इशारा है कि कुछ बहुत गंभीर चल रहा है।
‘ऑपरेशन सिंदूर’ ने दुनिया को झकझोर दिया
जनरल चौहान ने मई 2025 में हुए ‘ऑपरेशन सिंदूर’ का भी जिक्र किया और कहा कि यह इतिहास का वो पल था, जब भारत और पाकिस्तान… दो परमाणु ताकतें सीधे युद्ध में टकराईं। (CDS General Anil Chauhan Warning) पाकिस्तान ने एक बार फिर परमाणु धमकी दी, लेकिन भारत ने उसे जमीन पर रौंद दिया। ये साबित करता है कि अब परमाणु डर की रणनीति काम नहीं आने वाली।
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जनरल चौहान ने साफ कहा कि आर्थिक ताकत ही असली राष्ट्रीय शक्ति है। (CDS General Anil Chauhan Warning) अगर हमारी आर्थिक नींव हिलेगी, तो हमारी सारी रक्षा प्रणाली भी चरमरा जाएगी। व्यापार और वित्तीय स्थिरता अब सीधे हमारी सीमाओं की सुरक्षा से जुड़ चुके हैं।
सामाजिक टूटफूट से बढ़ेगा खतरा
CDS ने आगाह किया कि धार्मिक, भाषाई और जातीय तनाव अगर बढ़ा, तो बाहरी दुश्मनों को देश में घुसने का मौका मिल जाएगा। “भीतर से कमजोर भारत, बाहर से असहाय भारत बन जाएगा।”
युद्ध अब मिसाइलों से नहीं, साइबर अटैक से लड़े जाएंगे
जनरल चौहान ने बताया कि अब युद्ध का मैदान सीमा नहीं, बल्कि साइबर स्पेस, ड्रोन स्क्वाड्स और हाइपरसोनिक हथियारों का खेल बन चुका है। भारत को हर दिशा से, हर मोर्चे पर तैयार रहना होगा, नहीं तो अगला हमला वहां होगा जहां कोई सोच भी नहीं सकता।